उत्तराखंडभ्रष्टाचार

फैसला ऐतिहासिक व राष्ट्रीय हित मेंः धामी

दो हजार का नोट चलन से बाहर करने पर जुटने लगा राजनीतिक अखाड़ा

देहरादून। आरबीआई द्वारा दो हजार के नोट को चलन से बाहर किए जाने के फैसले को भाजपा के नेताओं द्वारा जहां इसे एक ऐतिहासिक फैसला बताया जा रहा है और मोदी सरकार द्वारा भ्रष्टाचार पर एक और चोट कहा जा रहा है वही कांग्रेस तथा अन्य दलों के नेता और कुछ आम लोग इसे सरकार की नीतियों की बड़ी विफलता बताकर यह कह रहे हैं कि यह तो होना ही था। यहां यह उल्लेखनीय है कि 2016 में मोदी सरकार द्वारा की गई नोटबंदी को केंद्र सरकार व भाजपा नेताओं ने काले धन पर इसे मोदी सरकार की सर्जिकल स्ट्राइक बताया था जबकि समूचे विपक्ष ने इसे अर्थव्यवस्था के लिए घातक बताकर इसकी निंदा और विरोध किया था।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने दो हजार के नोट को बंद करने के फैसले को मोदी सरकार का एक और ऐतिहासिक फैसला बताते हुए कहा कि केंद्र सरकार राष्ट्रीय हित में ऐसे ही फैसले लेती है। उन्होंने कहा कि इस फैसले से किसी को कोई परेशानी होने वाली नहीं है लोगों को कतई भी पैनिक होने की जरूरत नहीं है क्योंकि सरकार ने 30 सितंबर तक सभी बैंकों से नोट जमा करने या बदलने की व्यवस्था की है। उधर भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भटृ ने कहा है कि फैसला स्वागत योग्य है। यह भ्रष्टाचार पर सरकार का एक और कड़ा प्रहार है। केंद्रीय राज्य मंत्री अजय भटृ का कहना है कि इससे ब्लैक मनी के भंडारण करने वाले लोग हतोत्साहित होंगे और जमाखोरी और भ्रष्टाचारियों पर रोक लग सकेगी।

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